Scary night
एक लड़की सुनीता जो बहुत सीधी-सादी होती है सुनीता बहुत ही मेहनती लड़की होती है जब से उसकी मां की मृत्यु हुई उसके बाद वह चुपचाप रहने लगती थी उसकी दूसरी मां से बहुत परेशान करती है और वह सुनीता से नफरत भी करती है क्योंकि सुनीता उसकी बेटी से ज्यादा खूबसूरत होती है एक दिन सुनीता के कॉलेज में एक लड़का सुनीता से बात करता है तो उसकी बहनएक की दो बात लगाकर अपनी मां को बता देती है उसकी मां सुनीता पर बदचलन ना जाने कैसे-कैसे इल्जाम सुनीता पर लगाती है जिस कारण सुनीता दुखी होकर रोने लगती है यह देखकर सुनीता के पापा भी दुखी हो जाता है वह कहता है बेटी तू अपनी पढ़ाई के लिए दूसरी जगहचली जाइए मां बेटी तुझे चैन से जीने नहीं देंगे तो दूसरे शहर चल जा मैं तेरे रहने का सारा इंतजाम कर दूंगा सुनीता मान जाती है वह आगरा में पढ़ने के लिए चली जाती है वहां पर उनके दर के रिश्तेदार भी रहते थे सुनीता का पापा उनके द्वारा सुनीता के रहने का इंतजाम कर देते हैं उसे एक अच्छा सा किराए पर घर मिल जाता है सुनीता का पापा भी कहता है कुछ दिन बाद मैं भी तुमसे मिलने आ जाया करूंगा सुनीता वहां चली जाती है वहां अपने रहने खाने का इंतजाम कर लेती है रात को जब सुनीता सोने जाती है तो उसे ऐसा लगता है जैसे कोई उस पर नजर रख रहा हो वह बाहर यहां वहां देखतती हैं उसे कुछ दिखाई नहीं देता है वह सोचती है किउसे कोई बहम हुआ है अगले दिन सुनीता तैयार होकर कॉलेज चले जाती है उसे दिन उसे आने में देर हो जाती है क्योंकि मौसम खराब था तो उसे कोई ऑटो नहीं मिलता है इस कारण उसे आने में देरी हो जाती है सुनीता रात को खाना खाकर सोने की तैयारी करती है तभी अचानक बिजली कड़कने की आवाज आती है और सुनीता डर जाती है यह रात बहुत काली अंधेरी रात थी जो बिजली के चमकने सेऔर डरावनी हो जाती है जैसे ही सुनीता सोने जाती है उसे कुछ आवाज सुनाई देती है जिसे सुनकर वह डर जाती है एक तो यह काली डरावनी रात और फिर यह आवाज जो माहौल को और ड़रावना बना रही है सुनीता हिम्मत करके उसे आवाज की तरफ जाती है तभी बिजली चमकती है और डर के मारे सुनीता की धड़कन बढ़ जाती है सुनीता देखती है की खिड़की खुली है सुनीता खिड़की बंद करने जाती है तो उसका चेहरे के सामने उसकी ही आंखें आ जाती है यह देखकर सुनीता की दर के मारे हालत खराब होने लगती है खुद को हिम्मत देते हुए कहती है खिड़की के शीशे में उसका ही चेहरा दिखाई दे रहा है लेकिन खुद को इतना समझाने के बाद भी उसका डर कम नहीं होता है वह खिड़की बंद करके अपने कमरे में सोने के लिए जाती है अगले दिन सुनीता का पापा वहां आ जाता है बहुत देर हो जाती है और सुनीता दरवाजा नहीं खुलता है तो वह मकान मालिक से दूसरी चाबी लाकर दरवाजा खोलना है अंदर जाकर देखा है तो वह हक्का-बक्का रह जाता है और रोने लगता है.
ऐसा सुनीता के पापा क्या देखते हैं जो वह रोने लगते हैंऐसा उन्होंने क्या देखा सुनीता के पापा के पैरों के नीचे से जमीन खिसक जाती है(आखिर सुनीता के साथ क्या हुआ ?)
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Horror story